सामंतवाद के गढ़ में आज़ादी के 73 वर्षों बाद अनुसूचित जाति के दुल्हों की घोड़ी पर चढ़कर निकासी निकाली गई।
सामंतवाद के गढ़ में 73 वर्षों बाद अनुसूचित जाति का दुल्हा घोड़ी पर चढ़कर गुलामी से हुआ आजाद। आज दिनांक 27-04-2021 को राजस्थान की राजधानी जयपुर के गांव सूरजपुरा, विराटनगर में सामंतवादी सोच के लोगों ने अनुसूचित जाति के युवक से कहा था कि अगर घोड़ी पर बैठे तो गोली मार देंगे, अंत में भीम आर्मी चीफ के आह्वान पर आजादी के 73 वर्षों बाद, पहली बार अनुसूचित जाति के विनोद कुमार व मनोज दोनों दूल्हों की घोडी पर चढ़कर धूमधाम से डीजे के साथ शांतिपूर्वक बिंदोरी निकाली गई। आपको बता दें कि दो भाइयों में एक दूल्हा, विनोद कुमार आजाद समाज पार्टी (कांशीराम) यूथ विंग का जिला प्रभारी है। यह साहसिक कदम उसी क्रांतिकारी साथी ने उठाया है। इस पूरे घटनाक्रम पर भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद की पूरी नजर थी, उन्होंने शादी से पहले ही जिला प्रशासन से दूरभाष पर बातचीत करके प्रशासन को अलर्ट कर दिया था और यह भी कहा था कि मैं इस शादी में शामिल रहूंगा। जिला प्रशासन की ओर से चंद्रशेखर आजाद जी को पूरा आश्वासन दिया गया कि इस शादी में किसी भी प्रकार की दिक्कत नहीं होगी, अगर किसी असामाजिक तत्वों ने शांति भं